खोजे गए परिणाम

सहेजे गए शब्द

"मन ही मन में" शब्द से संबंधित परिणाम

मन ही मन में

in one's heart of hearts, quietly

मन ही में

दिल में; अपने आप को

मन के मन में

دل ہی دل میں ، دل یا روح کی گہرائی میں

पापी के मन में पाप ही बसे

उद्दंड व्यक्ति हर समय उद्दंडता ही की बातें सोचता रहता है

मन में

हृदय में, विचार में

गूँगे ने सपना देखा, मन ही मन पछताए

गूँगे को दुख होता है कि वह अपना सपना किसी को सुना नहीं सकता

तन गुदड़ी , मन तागा , कोई कुछ ही लिखे मन लागा

दिल बदन को ठीक रखता है बगै़र दल के बदन कुछ नहीं फ़क़ीरों का क़ौल है

मन का मन में रहना

۔ارمان یا خواہش کاپورا نہ ہونا۔؎

मन की मन में रहना

दिल की इच्छा दिल में ही रह जाना, इच्छा पूरी न होना, उत्सुकता और इच्छा का व्यर्थ जाना, उद्देश्य पूरा न होना

मन के हारे हार है मन के जीते जीत, पार ब्रह्म को पाइये मन ही के प्रतीत

दिल की प्रबलता से काम बनता और दिल के छूट जाने से बिगड़ता है

तन कसरत में मन 'औरत में

कसरत करने वालों का ध्यान सामान्यतः स्त्रियों की ओर रहता है

मन की बात मन में रखना

दिल की बात न कहना, दिल की इच्छा किसी से न कहना, इच्छा व्यक्त न करना

मन में कहना

दिल में कहना, ख़ुद से कहना, अपने आप से कहना

मन में आना

जी में आना, ख़याल में आना

मन में हँसना

दिल में हँसना, दिल ही दिल में ख़ुश होना

मन में डूबना

आत्मलीन होना, आत्म-पहचान करना, आत्म-मूल्यांकन (स्वयं के साथ प्रयुक्त)

मन में लाना

ख़ातिर में लाना, दिल में जगह देना, एहमीयत देना

मन में समाना

ख़्याल में आना, धुन समाना, मुसम्मम इरादा करना

मन में बिचारना

दिल में सूचना, ख़्याल करना

मन में छटाँग

۔بہت میں سے تھوڑا کی جگہ۔(مراۃ العروس) اگر سچ پوچھو تو بھی من میں چھٹانک بھی نہیں ہوا۔

सर सज्दों में, मन बदियों में

बज़ाहिर नेक बहातन बद, इस मौक़ा पर मुसतामल जब कि बज़ाहिर कोई बड़ा नेक बने मगर दिल में ख़यासत भरी हो

बात मन में बसना

बात याद रहना, बात दिल को बहुत पसंद आना

मन में जागा करना

दिल में जगह बनाना, दिल में घर करना, प्यार पैदा करना

मन हाथ में लेना

आज्ञाकार बनाना, आज्ञा पालन करना

मन में खोट होना

नियत में खोट होना, नियत ख़राब होना

मन में रूस पकड़ना

दिल में ग़ुस्सा करना, ब्रहमी दिखाना

मन में बसे , पिसने दिसे

मन में बसे, सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

मन में बसे सो सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

चातुर का क़र्ज़ मन में निस्तार

चालाक व्यक्ति ऋण ले कर वापस नहीं करता

मन में लड्डू फूटना

मन में अधिक प्रसन्न होना, दिल में बहुत ख़ुश होना

मन में बसी , सीने में धंसी

जो बात दिल को पसंद आजाए इस का ख़्याल हरवक़त रहता है

चोर का मन बुक़्चे में

चोर का ख़्याल हर समय चोरी की तरफ़ रहता है

तन-मन में आग लगना

रुक : तन बदन में आग लगना

मन में खुब-खुब जाना

दिल को लगना, दिल में उतर जाता, दिल को बहुत पसंद आना

मन में चोर पैदा होना

बद-गुमानी पैदा होना, दिल में फ़र्क़ आना, बदज़नी होना

ठूँठ चतेरा मन में झींके

ऐसे मौक़ा पर बोलते हैं जब कोई क़ाबिल आदमी काम ख़राब होते देखे मगर दख़ल ना दे

तन मन में एक होना

बहुत दोस्ती होना, बड़ी मित्रता होना

मन में मूर्ख़ जून में दुखी कोई नहीं

स्वंय को कोई मूर्ख नहीं समझता है और न कोई जान से तंग आता है

जो मन में बसे सो सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

कुत्ता पाए तो सवा मन खाए, नहीं तो दिया ही चाट कर रह जाए

कुत्ता लालची भी है और सहनशील भी, अगर मिले तो सब कुछ खा जाता है अगर न मिले तो मालिक का घर छोड़ कर नहीं जाता

कुत्ता पाए तो सवा मन खाए, नहीं तो ज़बान ही चाट कर रह जाए

कुत्ता लालची भी है और सहनशील भी, अगर मिले तो सब कुछ खा जाता है अगर न मिले तो मालिक का घर छोड़ कर नहीं जाता

मन में शैख़ फ़रीद, बग़ल में ईंटें

बाहर कुछ अंदर कुछ, दिखावा करते हैं, ढोंगी हैं

मन में शैख़ फ़रीद, बग़ल में ईंट

बाहर कुछ अंदर कुछ, दिखावा करते हैं, ढोंगी हैं

मन चंगा तो कठौती में गंगा

यदि दिल पक्का और आस्था दृढ़ एवं सच्ची है तो सब जगह ईश्वर है

चोर के मन में चोरी बसे

हर कोई दूसरे व्यक्ति को भी अपने ही जैसा समझता है

मन में माया , मोह का सर निकालना

दिल में धन-दौलत की लालच या हवस पैदा होना

सब्र कर मन में ता सुख रहे तन में

सब्र से तस्कीन-ए-क़लब हासिल होती है

बनिये की गौन में नौ मन का धोका

मामला थोड़ा सा है मगर भूल बहुत बड़ी है

साँच बराबर तप नहीं और झूट बराबर पाप, जाके मन में पाप है ताके मन में आप

सच से बढ़ कर कोई तपस्या नहीं और झूठ से बढ़ कर कोई गुनाह नहीं

चोर का मन बुक़्चे में, नज़र गठरी पर

चोर का ख़्याल हर समय चोरी की तरफ़ रहता है

तेरे दया धरम नहीं मन में, मुखड़ा क्या देखे दरपन में

जिस के दिल में दया करुणा और तरस नहीं वो मनुष्य नहीं, शीशे में मनुष्य की छवि देख कर स्वयं को मनुष्य मत समझो

मन में गाँती टसटस रोवे, चूहा ख़सम कर सुख से सोवे

दिखाने को रोती है दिल में प्रसन्न है क्यूँकि पति बच्चा है इस लिए कोई रोक टोक करने वाला नहीं है

राम राम तो कहो मन मेरे , पाप कटेंगे छन में तेरे

ए मेरे दिल ख़ुदा का नाम तो ले तेरे सारे गुनाह पल भर में बख़्शे जाऐंगे

डोली आई डोली आई मेरे मन में चाव, डोली में से निकल पड़ा भोंकड़ा बिलाव

पत्नी का रूप देख कर सभी कामनाएँ टूट गईं

काम क्रोध, मध, लोभ की जब मन में होवे खान, का पंडित का मूर्खा दोऊ एक समान

काम वासना, क्रोध, घमंड और लोभ अर्थात लालच अगर दिल में हों तो ज्ञानी एवं अनपढ़ दोनों बराबर हैं

मन-ए-हिंदी

(तिब्ब) चालीस सैर का वज़न जो हिंदूस्तान में राइज है

साईं साईं जीभ पर और किब्र कपट मन बीच, वह न डाले जाएँगे पकड़ नरक में खींच

जिन की जीभ पर ईश्वर का नाम है और उन के दिल में घमंड और धोका कपट और हसद है उन को अंत में नरक ही मिलेगा

जल में बसे कोधनी और चंदा बसे आकास, जो जन जा के मन बसे सो जन ता के पास

कमल का फूल पानी में रहता है और चाँद आसमान पर, जो किसी के दिल में रहता है वो मानो उन के पास है

साईं अपने चित्त की भूल न कहिये कोय, तब लग मन में राखिये जब लग कारज होय

अपने दिल का भेद भूल कर भी किसी को नहीं बताना चाहिये जब तक काम न हो जाए उसे दिल में रखना चाहिये

हिन्दी, इंग्लिश और उर्दू में मन ही मन में के अर्थदेखिए

मन ही मन में

man hii man me.nمَن ہی مَن میں

English meaning of man hii man me.n

Adverb

  • in one's heart of hearts, quietly

مَن ہی مَن میں کے اردو معانی

  • Roman
  • Urdu

فعل متعلق

  • دل ہی دل میں ، اندر ہی اندر ، چپکے چپکے ۔

Urdu meaning of man hii man me.n

  • Roman
  • Urdu

  • dil hii dil me.n, andar hii andar, chupke chupke

खोजे गए शब्द से संबंधित

मन ही मन में

in one's heart of hearts, quietly

मन ही में

दिल में; अपने आप को

मन के मन में

دل ہی دل میں ، دل یا روح کی گہرائی میں

पापी के मन में पाप ही बसे

उद्दंड व्यक्ति हर समय उद्दंडता ही की बातें सोचता रहता है

मन में

हृदय में, विचार में

गूँगे ने सपना देखा, मन ही मन पछताए

गूँगे को दुख होता है कि वह अपना सपना किसी को सुना नहीं सकता

तन गुदड़ी , मन तागा , कोई कुछ ही लिखे मन लागा

दिल बदन को ठीक रखता है बगै़र दल के बदन कुछ नहीं फ़क़ीरों का क़ौल है

मन का मन में रहना

۔ارمان یا خواہش کاپورا نہ ہونا۔؎

मन की मन में रहना

दिल की इच्छा दिल में ही रह जाना, इच्छा पूरी न होना, उत्सुकता और इच्छा का व्यर्थ जाना, उद्देश्य पूरा न होना

मन के हारे हार है मन के जीते जीत, पार ब्रह्म को पाइये मन ही के प्रतीत

दिल की प्रबलता से काम बनता और दिल के छूट जाने से बिगड़ता है

तन कसरत में मन 'औरत में

कसरत करने वालों का ध्यान सामान्यतः स्त्रियों की ओर रहता है

मन की बात मन में रखना

दिल की बात न कहना, दिल की इच्छा किसी से न कहना, इच्छा व्यक्त न करना

मन में कहना

दिल में कहना, ख़ुद से कहना, अपने आप से कहना

मन में आना

जी में आना, ख़याल में आना

मन में हँसना

दिल में हँसना, दिल ही दिल में ख़ुश होना

मन में डूबना

आत्मलीन होना, आत्म-पहचान करना, आत्म-मूल्यांकन (स्वयं के साथ प्रयुक्त)

मन में लाना

ख़ातिर में लाना, दिल में जगह देना, एहमीयत देना

मन में समाना

ख़्याल में आना, धुन समाना, मुसम्मम इरादा करना

मन में बिचारना

दिल में सूचना, ख़्याल करना

मन में छटाँग

۔بہت میں سے تھوڑا کی جگہ۔(مراۃ العروس) اگر سچ پوچھو تو بھی من میں چھٹانک بھی نہیں ہوا۔

सर सज्दों में, मन बदियों में

बज़ाहिर नेक बहातन बद, इस मौक़ा पर मुसतामल जब कि बज़ाहिर कोई बड़ा नेक बने मगर दिल में ख़यासत भरी हो

बात मन में बसना

बात याद रहना, बात दिल को बहुत पसंद आना

मन में जागा करना

दिल में जगह बनाना, दिल में घर करना, प्यार पैदा करना

मन हाथ में लेना

आज्ञाकार बनाना, आज्ञा पालन करना

मन में खोट होना

नियत में खोट होना, नियत ख़राब होना

मन में रूस पकड़ना

दिल में ग़ुस्सा करना, ब्रहमी दिखाना

मन में बसे , पिसने दिसे

मन में बसे, सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

मन में बसे सो सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

चातुर का क़र्ज़ मन में निस्तार

चालाक व्यक्ति ऋण ले कर वापस नहीं करता

मन में लड्डू फूटना

मन में अधिक प्रसन्न होना, दिल में बहुत ख़ुश होना

मन में बसी , सीने में धंसी

जो बात दिल को पसंद आजाए इस का ख़्याल हरवक़त रहता है

चोर का मन बुक़्चे में

चोर का ख़्याल हर समय चोरी की तरफ़ रहता है

तन-मन में आग लगना

रुक : तन बदन में आग लगना

मन में खुब-खुब जाना

दिल को लगना, दिल में उतर जाता, दिल को बहुत पसंद आना

मन में चोर पैदा होना

बद-गुमानी पैदा होना, दिल में फ़र्क़ आना, बदज़नी होना

ठूँठ चतेरा मन में झींके

ऐसे मौक़ा पर बोलते हैं जब कोई क़ाबिल आदमी काम ख़राब होते देखे मगर दख़ल ना दे

तन मन में एक होना

बहुत दोस्ती होना, बड़ी मित्रता होना

मन में मूर्ख़ जून में दुखी कोई नहीं

स्वंय को कोई मूर्ख नहीं समझता है और न कोई जान से तंग आता है

जो मन में बसे सो सपने दिसे

जो वस्तु मनभावन होती है हर समय उसी का ध्यान रहता है और वही वस्तु सपने में भी दिखाई देती है

कुत्ता पाए तो सवा मन खाए, नहीं तो दिया ही चाट कर रह जाए

कुत्ता लालची भी है और सहनशील भी, अगर मिले तो सब कुछ खा जाता है अगर न मिले तो मालिक का घर छोड़ कर नहीं जाता

कुत्ता पाए तो सवा मन खाए, नहीं तो ज़बान ही चाट कर रह जाए

कुत्ता लालची भी है और सहनशील भी, अगर मिले तो सब कुछ खा जाता है अगर न मिले तो मालिक का घर छोड़ कर नहीं जाता

मन में शैख़ फ़रीद, बग़ल में ईंटें

बाहर कुछ अंदर कुछ, दिखावा करते हैं, ढोंगी हैं

मन में शैख़ फ़रीद, बग़ल में ईंट

बाहर कुछ अंदर कुछ, दिखावा करते हैं, ढोंगी हैं

मन चंगा तो कठौती में गंगा

यदि दिल पक्का और आस्था दृढ़ एवं सच्ची है तो सब जगह ईश्वर है

चोर के मन में चोरी बसे

हर कोई दूसरे व्यक्ति को भी अपने ही जैसा समझता है

मन में माया , मोह का सर निकालना

दिल में धन-दौलत की लालच या हवस पैदा होना

सब्र कर मन में ता सुख रहे तन में

सब्र से तस्कीन-ए-क़लब हासिल होती है

बनिये की गौन में नौ मन का धोका

मामला थोड़ा सा है मगर भूल बहुत बड़ी है

साँच बराबर तप नहीं और झूट बराबर पाप, जाके मन में पाप है ताके मन में आप

सच से बढ़ कर कोई तपस्या नहीं और झूठ से बढ़ कर कोई गुनाह नहीं

चोर का मन बुक़्चे में, नज़र गठरी पर

चोर का ख़्याल हर समय चोरी की तरफ़ रहता है

तेरे दया धरम नहीं मन में, मुखड़ा क्या देखे दरपन में

जिस के दिल में दया करुणा और तरस नहीं वो मनुष्य नहीं, शीशे में मनुष्य की छवि देख कर स्वयं को मनुष्य मत समझो

मन में गाँती टसटस रोवे, चूहा ख़सम कर सुख से सोवे

दिखाने को रोती है दिल में प्रसन्न है क्यूँकि पति बच्चा है इस लिए कोई रोक टोक करने वाला नहीं है

राम राम तो कहो मन मेरे , पाप कटेंगे छन में तेरे

ए मेरे दिल ख़ुदा का नाम तो ले तेरे सारे गुनाह पल भर में बख़्शे जाऐंगे

डोली आई डोली आई मेरे मन में चाव, डोली में से निकल पड़ा भोंकड़ा बिलाव

पत्नी का रूप देख कर सभी कामनाएँ टूट गईं

काम क्रोध, मध, लोभ की जब मन में होवे खान, का पंडित का मूर्खा दोऊ एक समान

काम वासना, क्रोध, घमंड और लोभ अर्थात लालच अगर दिल में हों तो ज्ञानी एवं अनपढ़ दोनों बराबर हैं

मन-ए-हिंदी

(तिब्ब) चालीस सैर का वज़न जो हिंदूस्तान में राइज है

साईं साईं जीभ पर और किब्र कपट मन बीच, वह न डाले जाएँगे पकड़ नरक में खींच

जिन की जीभ पर ईश्वर का नाम है और उन के दिल में घमंड और धोका कपट और हसद है उन को अंत में नरक ही मिलेगा

जल में बसे कोधनी और चंदा बसे आकास, जो जन जा के मन बसे सो जन ता के पास

कमल का फूल पानी में रहता है और चाँद आसमान पर, जो किसी के दिल में रहता है वो मानो उन के पास है

साईं अपने चित्त की भूल न कहिये कोय, तब लग मन में राखिये जब लग कारज होय

अपने दिल का भेद भूल कर भी किसी को नहीं बताना चाहिये जब तक काम न हो जाए उसे दिल में रखना चाहिये

संदर्भग्रंथ सूची: रेख़्ता डिक्शनरी में उपयोग किये गये स्रोतों की सूची देखें .

सुझाव दीजिए (मन ही मन में)

नाम

ई-मेल

प्रतिक्रिया

मन ही मन में

चित्र अपलोड कीजिएअधिक जानिए

नाम

ई-मेल

प्रदर्शित नाम

चित्र संलग्न कीजिए

चित्र चुनिए
(format .png, .jpg, .jpeg & max size 4MB and upto 4 images)

सूचनाएँ और जानकारी प्राप्त करने के लिए सदस्यता लें

सदस्य बनिए
बोलिए

Delete 44 saved words?

क्या आप वास्तव में इन प्रविष्टियों को हटा रहे हैं? इन्हें पुन: पूर्ववत् करना संभव नहीं होगा

Want to show word meaning

Do you really want to Show these meaning? This process cannot be undone